उसका मुख एक ज्योत है..
घूँघट है संसार..
घूँघट में.. वोह छुप गया....
मुख पर आँचल डाल..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
हर हाल में बस पेश-ऐ-नजर है वही सूरत..
हर हाल में बस पेश-ऐ-नजर है वही सूरत..
...................................................
मैंने कभी रूहे शब्-ऐ-हिजरा नहीं देखा..
मैंने कभी रूहे शब्-ऐ-हिजरा नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
आये थे सभी तरह के जलवे मेरे आगे..घूँघट है संसार..
घूँघट में.. वोह छुप गया....
मुख पर आँचल डाल..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
हर हाल में बस पेश-ऐ-नजर है वही सूरत..
हर हाल में बस पेश-ऐ-नजर है वही सूरत..
...................................................
मैंने कभी रूहे शब्-ऐ-हिजरा नहीं देखा..
मैंने कभी रूहे शब्-ऐ-हिजरा नहीं देखा..
रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..
आये थे सभी तरह के जलवे मेरे आगे..
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मैंने मगर ऐ दीदार-ऐ-हैरान नहीं देखा..
मैंने मगर ऐ दीदार-ऐ-हैरान नहीं देखा..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
क्या क्या हुआ हंगाम-ऐ-जुनूँ ये नहीं मालूम..
क्या क्या हुआ हंगाम-ऐ-जुनूँ ये नहीं मालूम..
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कुछ होश जो आया तो गरीबाँ नहीं देखा..
कुछ होश जो आया तो गरीबाँ नहीं देखा..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
क्या क्या हुआ हंगाम-ऐ-जुनूँ ये नहीं मालूम..
क्या क्या हुआ हंगाम-ऐ-जुनूँ ये नहीं मालूम..
क्या क्या....
हुआ...हुआ ..आ........
हंगाम-ऐ-जुनूँ ....
ये नहीं मालूम.........
क्या क्या हुआ हंगाम-ऐ-जुनूँ ये नहीं मालूम..
कुछ होश जो आया तो गरीबाँ नहीं देखा..
कुछ होश जो आया तो गरीबाँ नहीं देखा..
जाहिदने मेरा हौसले-इमाँ नहीं देखा..रुखपर तेरी ज़ुल्फों को परेशाँ नहीं देखा..
क्या ..क्या... हुआ........
क्या क्या हुआ ...हंगाम-ऐ-जुनूँ... ये नहीं मालूम..
कुछ होश जो आया तो गरीबाँ नहीं देखा ..
- अस्घर गोंडवी
Sung By - Abida Parveen
आबिदा परवीन यांनी गायलेले
Lyrics By - Asghar Gondavi
अस्घर गोंडवी यांनी लिहिलेले
वरील गानप्रकार हा सुफी प्रकारचा आहे.
हे Raqs-E-Bismil (आश्र-ए-बिस्मिल) या अल्बम मधील आहे.
अबिदा परवीनच्या Sad Gazal पठडीमध्ये याची गणना होते.
आपल्याला काही शब्द जाणून घ्यायचे असतील,तर commet मध्ये तो शब्द लिहा.
बहुत खूबसूरत काम किया है आप ने, आभार..जनाब.
ReplyDeleteबहुत बहुत शुक्रिया..
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